यह दलाई लामा का सरल व्यक्तित्व ही है कि वह अपने को तिब्बत, गेलुग परिवार या बौद्ध धर्म तक सीमित न रखकर संपूर्ण विश्व के नागरिक बन सके। १९४९ में चीन द्वारा तिब्बत पर हुए हमले के बाद १९५९ में नेहरू जी की सहायता से दलाई लामा और लाखों शरणार्थियों ने भारत आकर तिब्बत की निर्वासित सरकार का गठन किया। तब से यह सरकार धर्मशाला (हिमाचल प्रदेश) में ही स्थापित है। सब जानते हैं कि चीन ने तिब्बत के अलावा सिक्किम, भूटान, लद्दाख और अरुणाचल के क्षेत्रों पर भी अपना दावा किया और इस सम्पूर्ण हिमालय क्षेत्र को हथियाने के प्रयास किए। अंततः सिक्किम और भूटान पर कब्ज़ा न कर पाने की स्थिति में भारत पर हमला भी किया और अंतर्राष्ट्रीय दवाब बनने पर सेना की वापसी भी कर ली परन्तु बलपूर्वक कब्जाए हुए लद्दाखी क्षेत्र अक्साई चिन को नहीं छोड़ा।
मंगोल भाषा में दलाई लामा का अर्थ है ज्ञान का महासागर। यह दलाई लामा का नेतृत्व ही है जिसने तिब्बत में चीनी दमन के ख़िलाफ़ चल रहे आन्दोलन को हिंसक नहीं होने दिया है। चीनी कब्जे में तिब्बत में जनता की खराब स्थिति का शांतिपूर्ण हल ढूँढने के लिए दलाई लामा ने अस्सी के दशक में एक शांति योजना भी प्रस्तुत की। १९८९ में दलाई लामा को शान्ति का नोबेल पुरस्कार मिला और चीन की धमकियों की परवाह किए बिना अनेकों राष्ट्रों ने उन्हें अपने देश के विशिष्ट नागरिक का दर्जा दिया है। उनको अनेकों सम्मान एवं बीसिओं डॉक्टरेट उपाधियां भी मिल चुकी हैं । भारत व अमेरिका के अलावा भी अनेकों विश्व विद्यालय उन्हें प्रवचन के लिए बुलाते रहते हैं। अपनी शांत मुस्कान के लिए प्रसिद्व दलाई लामा पचास से अधिक पुस्तकों के लेखक भी हैं।
यदि उनके जीवन संदेश को गिने-चुने शब्दों में कहना हो तो मैं चुनूंगा - अहिंसा, क्षमा, विश्व-बंधुत्व और नम्रता। दलाई लामा को जन्म दिन मुबारक!
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दलाई लामा को ईश्वर लम्बी आयु तक अच्छा स्वास्थ्य दें !
ReplyDeleteअच्छी जानकारी .; सचमुच ज्ञान का महासागर हैं दलाई लामा !!
ReplyDeleteआपको बहुत धन्यवाद इस माहापुरुष के बारे मे जानकारी देने के लिये. अभी पीछले महिने ही ये हमारे शहर के मेहमान थे. इनके दर्शन का सौभाग्य मिला.
ReplyDeleteये बात बात मे मजाक कर बैठते हैं. पत्रकारों द्वारा यह पूछा जाने पर कि आप इतना अच्छा हास्य कैसे पैदा कर लेते हैं इतनी जिम्मेदारियों के बावजूद भी?
दलाई लामा का जवाब था : मजाक या हास्य भी स्वस्थ चित के लिये एक प्रकार की योग साधना ही है.
बस हमको तबसे यह मलाल खत्म होगया कि हम अच्छे भले इंसान से ताऊ क्यों बन गये? हमारा ताऊ बनना हमको अब अच्छा लगने लगा है.:)
रामराम.
उनको जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनाएं.
ReplyDeleteरामराम.
achchhee jaankaaree.
ReplyDeleteदलाईलामा को जन्म-दिन की बधाई।
ReplyDeleteपोस्ट लगाने के लिए आपका धन्यवाद।
बेहतरीन प्रस्तुति........ लामाश्री को अनंत शुभकामनाएं....
ReplyDeleteदलाई लामा से एक बार मिलने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। वे जिस आत्मीयता से मिले लगा कि परिवार का कोई मुखिया मिल रहा है। हमें उन्होंने पाँच मिनट का समय दिया था लेकिन हम आधा घण्टे उनका सान्निध्य का लाभ लेते रहे। वे तिब्बत की समस्या पर चिंतित थे। उनके जन्मदिन पर बधाई। आपने उनका स्मरण किया यह बहुत ही नेक स्मरण है।
ReplyDeleteइन्हें जन्मदिन की हार्दिक बधाई।
ReplyDelete(विपश्यना से लौटते हुए धर्मशाला में इनसे हाथ मिलाने को सौभाग्य प्राप्त हुआ था।:)
एक बहुत सुंदर जानकारी देने के लिये धन्यवाद
ReplyDeleteदलाई लामा जी के बारे में बडी अच्छी जानकारी प्रदान की आपने....ईश्वर उन्हे दीर्धायु प्रदान करे!!!
ReplyDeleteअहिंसा, क्षमा, विश्व-बंधुत्व और नम्रता
ReplyDeleteunhone अपने जीवन में भी इस बात को utaara है........दलाई लामा को जन्म दिन मुबारक
दलाई लामा तिब्बती लोगों की अस्मिता और आकांक्षाओं के प्रतीक हैं.मैं उन्हें उनके इस क्षेत्रीय रूप में देखना पसंद करूंगा.
ReplyDeleteजन्म दिन याद दिलाने का शुक्रिया.
Dalai lama ji ke liye shubhkamnaayein....
ReplyDeleteशीर्षक से लगा कि आप चार जुलाई की बात कर रहे होंगे। खैर चार या छ जुलाई - दोनो ही स्वातन्त्र्य के प्रतीक हैं!
ReplyDeleteI wanted to comment on your story" Empty cup"...it made a great reading...and a lesson...but couldn't locate a comment box!
ReplyDeleteWill go on to read more of your stories & poetry as well!
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इस महात्मा को सादर नमन और जन्मदिन की बधाई!
ReplyDeleteसार्थक जानकारी हर बार की तरह अद्वितीय मेरे ब्लॉग पर आकर दो ग़ज़ल जरूर पढ़े निवेदन है मोहाब्बत रूहानी ज़ज्बा और मिलने की प्यास रहने दे
ReplyDeleteआपका हार्दिक स्वागत है
पतझड़ सावन वसंत बहार की और प्रति कैसे उपलब्ध होंगी कृपया जरूर जवाव दें
दलाई लामा अहिंसा और शांति के प्रतीक बन चुके है. आभार याद दिलाने के लिए.
ReplyDeleteअच्छा किया आपने दलाई लामा जी के जन्म दिन पर यह लेख प्रस्तुत कर.
ReplyDeleteइस महान युग पुरुष् को जन्म दिवस पर बधाई और नमन इस जानकारी के लिये धब्यवाद्
ReplyDeleteशुक्रिया अनुराग जी..!
ReplyDeleteऔर दलाई लामा के लिये समस्त शुभकामनायें !
जन्म दिन की बधाई महामहिम को.
ReplyDeleteपता नही था कि एक बात हम में कॊमन है, जन्म दिन!!!
अभी पिछले हफ़्ते वे हमारे शहर में थे,मगर मिलने का सौभाग्य नही मिला.
ham to khud unke fan hain...!!
ReplyDeleteइश्वर उन्हें लम्बी आयु ओर अच्छा स्वस्थ्य प्रदान करें |
ReplyDeleteआंध्रप्रदेश की ७ वर्षीय श्याम्भवी दलाई लामा का अवतार मानी जा रही है.
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